- पहले खुलेआम करते थे रूम दलाली न्यूज में प्रकाशित के बाद चोरी छिपे करते है रूम दलाली..
- मालवाणी ओम सिद्धिविनायक के सचिव शेख ने कहा, मैं सचिव के पद पर बैठकर करूंगा रूम दलाली, मुझे कोई नहीं रोक सकता..
मुम्बई/वशिष्ठ वाणी। मालवाणी गेट नंबर आठ पर म्हाडा बिल्डिंग में कुछ सोसाइटी द्वारा अलग ही मनामनी चल रहा है, वह अपने पद का दुर्पयोग करने से पीछे नहीं हट रहे, और नियम कानून की धज्जियां उड़ाते दिख रहे है। हम आपको बता दे की ओम सिद्धिविनायक सोसाइटी में जब से शेख ने सचिव का पद संभाला है तब से उसे लगा की वह बिल्डिंग का राजा बन गया है और उसकी मनमानी इस कदर हावी हो गई है की वह ज्यादा तर किसी रूम मालिक को कुछ समझता ही नहीं है, और खुलेआम रूम दलाली करने से भी पीछे नहीं हटने को तैयार नहीं, कई रूम मालिक ने वशिष्ठ वाणी को बताया कि वह सोसाइटी के शेख का कहना है की वह रूम दलाली खुलेआम करेगा और सचिव के पद बैठकर करेगा, उसे कोई रोकने वाला नहीं है। अब इतनी मनमानी कोई कैसे कर सकता है ? क्या म्हाडा के अधिकारियों को यह सब नहीं दिखता है, क्या वह जांच के नाम तमाशा कर रही है? क्या म्हाडा के अधिकारियों को ऐसे लोगो पर लगाम नहीं लगाना चाहिए, आखिर म्हाडा के अधिकारी कब नींद से जागेंगे?
आपको बता दे की शेख ने जब सचिव का पद संभाला है तब से वह बेलगाम हो गया है, उस व्यक्ति को किसी चीज कर डर नहीं जो रूम मालिक उसकी बात नहीं सुनते उसपर मनचाहा जुर्माना लगाना शुरू कर देता है। हम आपको यह भी बता दे की १ई 008 के रूम मालिक को बाइक चार्ज का जुर्माना 15 हजार रूपए लगा दिया, और 1ई 306 में रहने वाले का व्यापारिक रूम घोषित करके कमर्शियल का जुर्माना लगा दिया है। अब जिस रूम में 24 घंटे एक परिवार रहता है उसे कमर्शियल रूम बता कर जुर्माना लगाना यह मनमानी नहीं तो क्या है? जब इसका प्रमाण मांगा गया तो इसका जवाब सोसाइटी के तरफ से नहीं आया, पर सूत्रों से पता चला है की सचिव शेख ने कहा है की जो मेरे खिलाफ म्हाडा में शिकायत करेगा मैं उसे ऐसे ही जुर्माना लगा दूंगा।
- यह वो रूम है जिसे मालवानी ओम सिद्धिविनायक सोसाइटी ने कमर्शियल का जुर्माना लगा दिया है। अब प्रमाण नहीं है बस सोसायटी के सचिव ने जिद्द में लगा दिया जुर्माना।
आप सभी को सोसाइटी के सचिव शेख के बारे एक और दिलचस्प बाते बताते हैं जिससे आप यह अंदाजा लगा लेंगे की सचिव शेख की मनमानी किस हद तक बढ़ी है, 1ई 306 के शिकायत के बाद शेख ने उस रूम पर इंटरनेट का जुर्माना भी लगाया है, अब 1ई 306 के किराएदार ने किसी से इंटरनेट की सुविधा ली थी अब उसका नेट का कार्य सही नहीं था, उसने नेट हटवा दिया, अब आप सभी लोग यह यकीन नहीं करेंगे की उसका चार्ज सोसाइटी शेख द्वारा वसूला जा रहा है, शेख ने सोसाइटी की राशिद में इंटरनेट का भी जुर्माना लगाया, मतलब अगर अपने होम लोन या कोई भी सामग्री ली और उसका चार्ज अपने नहीं भरा तो अब सोसाइटी उसकी वसूली करेगी, अब कितनी दिलचप्स बाते है.. हमे जान कर तो काफी हसी शायद आप सभी को भी आ रही होगी।
- यह सोसाइटी द्वारा मेंटनेस की रसीद भेजी गई जिसमे आप यह देख सकते है की सचिव शेख, कितने सारे जुर्माना लगाया है..
अब हम बात करते कमर्शियल चार्ज के बारे में अब हमें तो यह पता है की रूम नंबर १ई ३०६ में कोई भी व्यापारी कार्य नहीं होता है पर आपको बता दे की १ई सोसाइटी का जो सचिव शेख ने अपने रूम को सोसाइटी के ऑफिस को गोदाम बना दिया है। जिसका प्रमाण यह फोटो है, यह सोसाइटी के कार्यालय का जिसमे आप यह देख सकते है की जब से सचिव शेख बना है तब से कार्यालय को गोदाम बना दिया है।
सचिव शेख की मनमानी के बारे में एक और बात करते है, जब से बिल्डिंग बनी तब से कोई पार्किंग वसूली नहीं की गई, ना ही कोई पद पर बैठकर रूम दलाली किया, पर जब से सचिव शेख बना है तब से रूम दलाली और पार्किंग वसूली शुरू कर दी गई है, अब पार्किंग वसूली के राशि को बिल्डिंग विकास के लिए उपयोग करने की बात करते है, पर बहुत सारे रूम मालिक को यह पता ही नही है कि वह जो मेंटेनेंस दे रहे वह प्रति माह 400 रू ज्यादा ही दे रहे, और सोसाइटी रूम भाड़े पर देने के नाम पर 3000 रू अलग से वसूल ही रही है फिर इन्हे पार्किंग वसूली की क्या जरूरत पड़ गई है?
ऐसे ही बहुत सारी अनगिनत मनमानी चरम पर है, अब देखना है म्हाडा अधिकारियों की आंख कब तक खुलती है, और ऐसे सचिव के उपर म्हाडा द्वारा कब कड़ी से कड़ी कार्रवाई होती है?